भयो कृष्ण अवतार, गूंजी जय जयकार

एनबीटी न्यूज, मथुरा

कन्हैया के जन्मदिन को धूमधाम से मनाने के लिए दुनिया भर से मथुरा पहुंचे श्रद्धालु शनिवार सुबह से ही अपने आराध्य के जन्म के दिव्य पलों का साक्षी बनने को लालायित दिखे। श्रीकृष्ण जन्मस्थान पर सुबह से ही आयोजित हुए धार्मिक कार्यक्रमों में भी उन्होंने बढ़चढ़ कर हिस्सा लिया।

शनिवार सुबह से ही मंदिरों में दर्शनार्थियों की कतारें लगी रहीं। जन्मभूमि पर प्रिया-प्रियतम के निज गर्भगृह की अनूठी और निराली सज्जा की गई। इस बार जन्मोत्सव के बंगले के निर्माण में आधुनिक तकनीक का भी प्रयोग किया गया था। सुबह 5 बजे ठाकुरजी की मंगला आरती के साथ दर्शन करने के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। इसके बाद सुबह 9 बजे जन्मस्थान के लीला मंच पर आयोजित पुष्पांजलि कार्यक्रम में जन्मस्थान संस्थान के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास और कृष्ण गुरु शरणानंद ने पुष्पांजलि दी। जन्मभूमि स्थित श्रीकेशव देव मंदिर से संत-महंत और श्रद्धालु ढोल-नगाड़े, झांझ-मजीरों के साथ संकीर्तन करते हुए भागवत भवन आए।

मुख्य जन्म महाभिषेक कार्यक्रम जन्मस्थान परिसर स्थित भागवत भवन में रात 11 बजे श्री गणेश एवं नवग्रह का पूजन के साथ शुरु हुआ। रात 11.55 बजे ठाकुरजी का सहस्त्रार्चन कमल के फूलों और तुलसी दल से किया गया। उसके बाद 11.59 बजे प्राकट्य दर्शन के लिए मंदिर के पट बंद हुए। घड़ी में जैसे ही 12 बजे, भागवत भवन में झांझ-मजीरे, घंटे-घड़ियाल, शंख, ढोल-नगाड़े की करतल ध्वनि के साथ फूलों की वर्षा शुरु हो गई। ‘कृष्ण कन्हैया लाल की जय’ के उद्घोष के साथ वे आनंद से भाव-विभोर होकर झूमने लगे। पूरी मथुरा नगरी ‘नंद के आनंद भयौ जय कन्हैया लाल की’ स्वरलहरी से गूंज उठी।

आज गोकुल में गूंजेगी बधाई

गोकुल में आज नंदोत्सव धूमधाम से मनाया जाएगा। इसे लेकर गोकुलवासी तैयारियों में लगे हैं। मथुरा में जन्म के बाद वासुदेव श्रीकृष्ण को सूप में बैठाकर यमुना पार कर गोकुल पहुंचेंगे और इसके बाद गोकुल में नंदोत्सव की धूम होगी। ज्ञात रहे कि श्रीकृष्ण का जन्म महोत्सव गोकुल में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के दूसरे दिन उनके वहां पहुंचने पर मनाया जाता है। जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु भाग लेते हैं। इसमें गुजरात से आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या सबसे अधिक होती है। कन्हैया के आगमन पर गोकुल को नई नवेली दुल्हन की तरह सजाया जाता है और मंदिरों में हल्दी, पानी और दही से होली मनाई जाती है और भक्तों में मिठाई, फल, खिलौने, रुपये लुटाए जाते हैं।

सेवा में जुटा बृज

श्रीकृष्ण के दर्शनों के लिए दुनिया भर से यहां आए श्रद्धालुओं की सेवा में बृजवासियों ने कोई कसर नहीं छोड़ी। मथुरा में जगह-जगह भंडारे और प्याऊ लगाकर श्रद्धालुओं को भोजन कराया गया। वही, उपवास रखने वाले भक्तों के लिए भी फलाहार की व्यवस्था रही।

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