नोटबंदी: विश्लेषण में निजी इकाइयों की मदद लेगा आयकर विभाग

नई दिल्ली
आयकर विभाग ने आयकर रिटर्न और करदाताओं की अन्य सूचनाओं के मिलान के लिए निजी कंपनियों की सेवाएं लेने की प्रक्रिया शुरू की है। नोटबंदी के बाद बैंकों में रद्द किए गए 500 और 1,000 रुपये के करीब 15 लाख करोड़ रुपये के नोट जमा होने के बाद विभाग यह कदम उठा रहा है।

आयकर विभाग ने अपने विश्लेषण में पाया है कि नोटबंदी के बाद 60 लाख बैंक खातों में दो लाख रुपये से अधिक जमा किए गए। विभाग ने कहा, ‘आयकर विभाग नोटबंदी के आंकड़ों को आयकर रिटर्न और अन्य सूचनाओं से ठीक तरह से मिलान और उनका विश्लेषण कराने के लिए काबिल विश्लेषकों की सेवाएं लेना चाहता है।’

इसके साथ ही, आयकर विभाग इन आंकड़ों से हासिल हुए परिणामों को प्रभावी रूप से अपने कामकाज में शामिल करने की योजना बना रहा है। बता दें कि आयकर विभाग ने पहले ही बैंकों से 10 नवंबर से 30 दिसंबर 2016 के बीच जमा राशि के बारे में विस्तृत ब्योरा मांगा है। साथ ही, बैंकों से इन्हीं खातों में एक अप्रैल से आठ नवंबर 2016 के बीच जमा राशि के बारे में ब्योरा देने को कहा गया है।

विभाग ने कहा कि नोटबंदी के आंकड़ों का कर रिटर्न तथा अन्य सूचना से मिलान के लिए मैनेज्ड सर्विस प्रवाइडर फॉर डेटा एनालिटिक्स की जरूरत होगी। आयकर विभाग की नोटबंदी से संबंधित आंकड़ों के विश्लेषण में मदद के लिए दो एमएसपी नियुक्त करने की योजना है। साथ ही ‘बिजनेस प्रोसेस मैनेजमेंट’ के लिए भी एक एमएसपी नियुक्त करने का इरादा है।

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