काशीवासी पीएम को सुनाएंगे अपने ‘मन की बात’

प्रमुख संवाददाता, वाराणसी
हर महीने देश को अपने ‘मन की बात’ सुनाने वाले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को उनके संसदीय क्षेत्र की जनता अपने ‘मन की बात’ सुनाना चाहती है। पीएम मोदी को ‘मन की बात’ सुनाने के बाद ये लोग सीएम योगी आदित्यनाथ को भी अपनी बात बताएंगे। ये लोग काशी विश्वनाथ मंदिर के क्षेत्र में रहने वाले हैं, जिनके मकान को विस्तारीकरण के नाम पर अधिग्रहित किया जा रहा है। विश्वनाथ मंदिर के विस्तारीकरण के चलते मकान जाने के डर से एक मंच पर आए लोगों ने रविवार को बैठक करके यह फैसला किया है कि वह मोदी और योगी को ‘मन की बात’ सुनाएंगे।

काशी-विश्वनाथ मंदिर परिक्षेत्र के निवासियों की सरस्वती उद्यान में हुई बैठक के दौरान यह तय हुआ कि विस्तारीकरण के नाम पर मंदिर के आसपास की हजारों साल की सांस्कृतिक, धार्मिक धरोहरों के साथ किसी भी तरह की छेड़छाड़ नहीं करने दी जाएगी। एकमत से सभी ने अपनी आवाज मुखर करते हुए कहा कि सरकार को यदि हमारे मकान चाहिए तो ले ले, लेकिन काशी की पहचान गलियों, देवालयों, महान हस्तियों के स्मारकों, सबसे समृद्ध गोयनका वैदिक लाइब्रेरी आदि को गिराना तो दूर, इन्हें छूने की भी किसी को इजाजत नहीं दी जाएगी। इस बैठक में 31 सदस्यीय संघर्ष समिति का भी गठन किया गया।

मंदिर न्यास से मांगा हिसाब
काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास से बैठक में सवाल पूछा गया कि बीते 35 साल में हुई आय-व्यय का हिसाब क्या है? मंदिर में आने वाले तीर्थयात्रियों को कितनी सहूलियत दी जा रही है। हालत यह है कि गर्मी के मौसम में कई भक्त दर्शन से पहले कतार में बेहोश हो जा रहे हैं फिर भी पानी की समुचित व्यवस्था नहीं है। मंदिर मे जनता के दान के पैसे का जनता के हित में कितना प्रयोग किया गया? इसका भी जवाब जानने के साथ मंदिर के पुजारियों से लेकर सेवकों तक की सम्पत्ति का विवरण सार्वजनिक करने की मांग भी बैठक में उठी। जनता ने न्यास से पूछा ताड़केश्वर और रानी भवानी मंदिर को तोड़ कर दर्शनार्थियों को सुविधा प्रदान करने के वादे का क्या हुआ? सभा में क्षेत्र के पुरुषों के अलावा महिलाओं की भी खासी संख्या थी।

मोबाइल ऐप डाउनलोड करें और रहें हर खबर से अपडेट।

UP News in Hindi, उत्तर प्रदेश समाचार, Latest UP News, Uttar Pradesh News