100 नंबर कॉल पर लापरवाही पड़ेगी भारी

nसुरेंद्र राम, ग्रेटर नोएडा

नोएडा-ग्रेटर नोएडा में किसी भी घटना की सूचना 100 नंबर पर देने के बाद मौके पर पीसीआर को पहुंचने में क्यों देर हो रही है, इसकी जिम्मेदारी लेने से न तो कंट्रोल रूम में तैनात कर्मचारी बच सकेंगे और न ही पीसीआर पर तैनात पुलिस। एसएसपी के निर्देश पर कंट्रोल रूम में मास्टर रजिस्टर रखा गया है जिसमें रोज आने वाली कॉल की डिटेल होगी। अगले दिन कंट्रोल रूम के इंचार्ज अफसर कॉलर को कॉल करके कंट्रोल रूम और पीसीआर पुलिस के व्यवहार और उसकी संतुष्टि को लेकर फीडबैक लेंगे। यदि कॉलर असंतोष जताता है, तो संबंधित कर्मचारी पर कार्रवाई होगी। दरअसल, नोएडा-ग्रेटर नोएडा पुलिस को आधुनिक सुविधाएं मिलने के बावजूद क्राइम का ग्राफ अन्य जिलों से ज्यादा है। अक्सर वारदात के बाद पीसीआर को मौके पर पहुंचने में काफी देर हो जाती है। कई बार पीसीआर कर्मियों पर बदतमीजी के भी आरोप लगते हैं। बीते सप्ताह ग्रेटर नोएडा आए डीजीपी जावीद अहमद ने एसएसपी से नाराजगी जताई थी और इसमें पारदर्शिता लाने के निर्देश दिए थे। पुलिस अफसरों की मानें तो इसी के बाद एसएसपी किरन एस. ने कंट्रोल रूम में आने वाली कॉल्स के लिए मास्टर रजिस्टर बनाने के निर्देश दिए। मास्टर रजिस्टर में कंट्रोल में तैनात कर्मी प्रत्येक कॉल का विवरण भी नोट करेंगे। यदि कोई फर्जी कॉल करके पुलिस कर्मियों को परेशान करता है, तो उसके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी। अब किसी पीड़ित की कॉल आने के बाद कंट्रोल रूम के कर्मचारी को वायरलेस पर सूचना देनी होगी।

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