मोदी का सूफी प्रेम

विश्व सूफी कॉन्फ्रेंस भी हिट रही और इस कॉन्फ्रेंस में मोदी भी हिट रहे। उद्घाटन भाषण के पहले मोदी ने सूफीवाद पर खुद रिसर्च की। पता यह चला है कि वह सूफी धारा से बहुत अधिक प्रभावित हैं, और सूचना-प्रसारण मंत्रालय को भी सूफी धारा को महत्व देने के निर्देश दे दिए गए हैं। वैसे आम धारणा बीजेपी को ध्रुवीकरण कराने वाली पार्टी मानने की है, लेकिन प्रधानमंत्री का मानना है कि सूफीवाद को बढ़ावा देने से साम्प्रदायिक तनाव खत्म करने में मदद मिलेगी। पश्चिम बंगाल और असम के चुनावों के संदर्भ में – जहां बड़ी संख्या में मुस्लिम मतदाता हैं- यह बहुत महत्वपूर्ण है। लेकिन प्रधानमंत्री की इस पहल से सुन्नी मुस्लिम राजनीति करने वाले खासे खफा हैं। देखते हैं क्या होता है?     अनंत कुमार की पुत्री का विवाह  रसायन और उर्वरक मंत्री अनंत कुमार की पुत्री का विवाह हाल ही में हुआ। उनकी बिटिया आईटी क्षेत्र की प्रोफेशनल है और बेंगलौर में काम करती है। विवाह भी उसके साथ ही काम करने वाले युवक से हुआ है, जो मूलतः उत्तर प्रदेश का रहने वाला है। सादा विवाह समारोह सम्पन्न हुआ नितिन गडकरी के…

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