पूर्व पाक राजदूत हुसैन हक्कानी, कश्मीर की धुन छोड़ दे पाकिस्तान

लंदन
पाकिस्तान के एक पूर्व शीर्ष राजनयिक ने यहां कहा कि पाकिस्तान को कश्मीर मुद्दे पर अंतरराष्ट्रीय समुदाय का समर्थन अब और प्राप्त नहीं है और उसे इस मुद्दे के साथ अपनी ‘वैचारिक धुन’ छोड़ देनी चाहिए। साल 2008 से 2011 के बीच अमेरिका में पाकिस्तान के राजदूत रहे हुसैन हक्कानी ने कश्मीर के प्रति पाकिस्तान के रवैये में निर्णायक बदलाव की जरूरत बताई है। उन्होंने कहा कि 26-11 के मुंबई आतंकवादी हमले के आरोपी जकीउर रहमान लखवी तथा जमात-उद-दावा के प्रमुख हाफिज सईद से जुड़ मुद्दे शांति में अवरोधक साबित हो सकते हैं।

पाकिस्तान में असैन्य सरकार पर सेना के नियंत्रण के मुखर आलोचक रहे हक्कानी ने भारत-पाक रिश्ते को ‘अशुभ शादी’ के रूप में परिभाषित करते हुए इस बात पर जोर दिया कि कश्मीर मुद्दे को लेकर अब पाकिस्तान के रवैये में निर्णायक बदलाव का वक्त है।
हक्कानी ने कहा, ‘पाकिस्तान को इस तरह का रवैया रखना है जिस तरह का चीन ने ताइवान को लेकर रखा है। उसे अपना दावा छोड़ने की जरूरत नहीं लेकिन अन्य मुद्दों पर पहले आगे बढ़ने की भी जरूरत नहीं है।’ उन्होंने कहा कि कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय समुदाय का समर्थन अब और हासिल नहीं है। उन्होंने कहा, ‘हमें इसे वैचारिक धुन बना लेने की बजाय और अधिक व्यावहारिक सोच अख्तियार करनी होगी।’

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Navbharat Times