डीयू में राम मंदिर चर्चा का कड़ा विरोध
|डीयू में राम मंदिर पर शुरू हुए सेमिनार का कई छात्र संगठनों ने विरोध किया। सेमिनार स्थल के बाहर इन संगठनों ने जमकर नारेबाजी की। अरुंधती वशिष्ठ अनुसंधान पीठ (एवीएपी) की ओर से आयोजित यह सेमिनार दो दिन तक चलेगा।
सेमिनार शुरू होते के साथ ही कांग्रेस समर्थित एनएसयूआई समेत कई और स्टूडेंट यूनियन ने इसका विरोध शुरू कर दिया। स्टूडेंट का कहना है कि यूनिवर्सिटी कैंपस के माहौल को खराब और कम्युनल करने की कोशिश की जा रही है। स्टूडेंट अपने हाथों में कई स्लोगन लिखी तख्तियां लिए हुए थे। इन तख्तियों पर ‘हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई आपस में सब भाई-भाई’ आदि स्लोगन लिखे थे।
अरंधती वशिष्ठ अनुसंधान पीठ (एवीएपी) की ओर से आयोजित सेमिनार का का सब्जेक्ट ‘श्री राम जन्मभूमि मंदिर: उभरता परिदृश्य’ है। दो दिन तक चलने वाले सेमिनार में देशभर के प्रोग्राम में इतिहासकार, आर्कियोलॉजिस्ट और लॉ-एक्पर्ट शामिल होंगे। यहां तकरीबन 50 रिसर्च पेपर भी पेश किए जाएंगे। सूत्रों के मुताबिक सभी रिसर्च पेपर राम और राम मंदिर का फेवर करने वाले होंगे। राम मंदिर पर सेमिनार आज ट्वीटर पर ट्रेंड भी करता रहा। कुछ पक्ष तो कुछ इसके अगेंस्ट में राय देते दिखाई दिए। @dranandbardhan राम मंदिर पर सेमिनार का विरोध करने वाले को जानना चाहिए अपना धर्म बदलने से पूर्वजों का धर्म नहीं बदल जाता। @sanjaiopsharma बोले ‘नत्था; चचा ये जो राम मंदिर के लिये ईंटे इकट्ठी की थी कभी, उनका क्या हुआ? चचा; स्वच्छ्ता अभियान में जो सौचाल्य बने है ना उसी से बने है।’ @shreha211985 कहते हैं ‘NSUI का विरोध किस बात पर है ? श्री राम से या श्री राम मंदिर पर हो रहे विमर्श से ?’
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