डीपीएस के 11वीं के स्टूडेंट के साथ रैगिंग, हॉस्पिटल में ऐडमिट

नोएडा
सेक्टर-30 स्थित शहर के नामी दिल्ली पब्लिक स्कूल (डीपीएस) के हॉस्टल में 11वीं के स्टूडेंट के साथ रैगिंग का मामला सामने आया है। इस दौरान बीच-बचाव करने पर स्टूडेंट के साथी को भी पीटा गया। आरोप है कि दोनों को रॉड, लाठी-डंडों और लात-घूंसों से मारा गया। दोनों जख्मी छात्रों को कैलाश अस्पताल में ऐडमिट कराया गया है।

इनमें से एक के परिजनों ने आरोपी छात्रों के खिलाफ सेक्टर-20 पुलिस स्टेशन में एफआईआर दर्ज करवाई है, जबकि दूसरे के पैरंट्स अभी कोलकाता से यहां नहीं पहुंचे हैं। आरोपी छह छात्रों के खिलाफ नामजद और 10 से 12 अन्य छात्रों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है। सभी आरोपी स्टूडेंट 12वीं के हैं और नाबालिग बताए जा रहे हैं।

रैगिंग का शिकार हुए 11वीं के स्टूडेंट के पिता अर्जुन सिंह रावत ने बताया कि एक मई को ही उन्होंने अपने बेटे का स्कूल में ऐडमिशन करवाया था। पेशे से कॉन्ट्रैक्टर अर्जुन बुलंदशहर के हैं। उन्होंने कुछ दिन पहले ही ग्रेटर नोएडा के जेपी गोल्फ कोर्स में घर खरीदा है। घर में काम चल रहा था, लिहाजा उन्होंने कुछ दिनों के लिए बेटे को डीपीएस का हॉस्टल दिलवा दिया।

सोमवार रात उन्हें फोन करके झगड़े में बेटे के घायल होने की सूचना स्कूल ने दी थी। वह रात में ही हॉस्टल पहुंचे, तो उन्हें बताया गया कि बेटे को कैलाश में ऐडमिट करवाया गया है। अस्पताल पहुंचने पर पता चला कि उनके बेटे के हाथ, पैर और सिर में चोटें आई हैं। उन्होंने इसकी शिकायत स्कूल मैनेजमेंट से की, तो मामले को दबाने की कोशिश की गई। स्कूल मैनेजमेंट ने उन्हें एफआईआर दर्ज करवाने से भी रोकने की कोशिश की।


रैगिंग का शिकार छत्र

अस्पताल में ऐडमिट अर्जुन के बेटे ने बताया कि सोमवार रात करीब 9 बजे वह अपने दोस्त के साथ हॉस्टल की मेस में बैठा था। वहां 12वीं के स्टूडेंट भी थे, जो उन पर कमेंट कर रहे थे। झगड़े से बचने के लिए दोनों उठकर जाने लगे तो आरोपी छात्रों ने उनका रास्ता रोक लिया और कहा कि बचकर कहां जा रहे हो। इसके बाद उसे वह जबरन टीवी रूम में ले गए और लाइट बंद करके उसके साथ रॉड, लाठी-डंडों से मारपीट करने लगे।

दोस्त को भी पीटा
अर्जुन के बेटे के दोस्त ने बताया कि ऐडमिशन के बाद बीते रविवार को ही वह हॉस्टल में आया था। वह कोलकाता का है और उसके पिता वहां बिजनस करते हैं। बीच-बचाव करने पर आरोपियों ने उसके साथ भी मारपीट की। उसके प्राइवेट पार्ट पर भी मारा। मारपीट के दौरान वॉर्डन की असिस्टेंट ने वहां आने की कोशिश की तो आरोपियों ने उन्हें गेट से यह कहकर चलता कर दिया कि यह लड़कों का आपसी मामला है, वे खुद सुलझा लेंगे। इसके बाद वॉर्डन आए, तब जाकर उन्हें रेस्क्यू करवाया जा सका। इसके बाद उन्हें एंबुलेंस से अस्पताल पहुंचाया गया।

‘शुरू से ही करते थे तंग’
रैगिंग के शिकार स्टूडेंट के पिता का कहना है कि एडमिशन के बाद से ही उनके बेटे को तंग किया जा रहा था। आरोपी स्टूडेंट उसे कपड़े उतारने को कहते थे। ऐसा न करने पर उनके बेटे को इतना तंग किया गया कि उसे हार्ट बीट तेज हो गई थी। 5 मई को उसकी तबीयत बिगड़ने पर हॉस्टल वॉर्डन ने उनके फोन करके इसकी सूचना दी। उन्होंने बेटे को मैक्स हॉस्पिटल में ऐडमिट करवाया।


रैगिंग का शिकार हुए छात्र का दोस्त

तीन दिन अस्पताल में इलाज के बाद उसे 8 मई को दोबारा हॉस्टल भेजा था। अगले ही दिन यह घटना हुई। पिछली बार उन्होंने स्कूल मैनेजमेंट के कहने पर घटना को नजरअंदाज कर दिया था। सोमवार रात को फिर आरोपी स्टूडेंट उनके बेटे को कपड़े उतारने को कह रहे थे। विरोध करने पर उसके साथ मारपीट की। जब वह हॉस्टल पहुंचे, तो वॉर्डन ने बेरुखी के साथ उनके साथ व्यवहार किया। रैगिंग का शिकार हुए स्टूडेंट की मां ने सेक्टर-20 थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई है।

एसपी सिटी दिनेश यादव ने बताया कि रिपोर्ट दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है। इस संबंध में डीपीएस की प्रिंसिपल कामिनी भसीन से उनका पक्ष जानने के लिए संपर्क करने की कोशिश की गई, लेकिन उन्होंने कोई रिस्पॉन्स नहीं दिया। मैंने अपने दोस्त को बचाने की कोशिश की तो आरोपियों ने मेरे साथ भी मारपीट की। मेरे प्राइवेट पार्ट पर भी मारा। जब वॉर्डन आए, तब जाकर हमारी जान बची

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