ट्रंप की उत्तर कोरिया को चेतावनी, दुनिया को ‘न्यूक्लियर ब्लैकमेलिंग’ का बंधक नहीं बनने देंगे

वॉशिंगटन
अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने उत्तर कोरिया को चेतावनी दी है कि दुनिया उसके ‘न्यूक्लियर ब्लैकमेल’ को सहन नहीं करेगी। उन्होंने प्योंगयांग पर दबाव बढ़ाने के लिए अंतरराष्ट्रीय अभियान चलाने की बात कही। एशिया के मैराथन दौरे से लौटने के बाद टीवी पर दिए अपने बयान में ट्रंप ने कहा, ‘मैंने स्पष्ट किया है कि हम इस तानाशाही द्वारा न्यूक्लियर ब्लैकमेल के जरिए दुनिया को बंधक नहीं बनने देंगे।’

अपने करीब 2 सप्ताह लंबे एशिया दौरे की तारीफ करते हुए ट्रंप ने कहा कि उन्होंने उत्तर कोरिया के निःशस्त्रीकरण के लिए दबाव तेज करने में कामयाबी हासिल की है। आलोचकों के मुताबिक ट्रंप का एशिया दौरा समय के लिहाज से तो लंबा रहा लेकिन उपलब्धियों के नाम पर कुछ खास नहीं रहा।

ट्रंप ने कहा कि कि उन्होंने चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग से यह वादा लेने में कामयाब रहे कि पेइचिंग कोरियाई प्रायद्वीप को परमाणुमुक्त करने के लिए अपनी आर्थिक शक्ति का इस्तेमाल करेगा। अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, ‘प्रेजिडेंट शी ने माना कि उत्तर कोरिया चीन के लिए बड़ा खतरा है।’

अपने 25 मिनट के संबोधन में ट्रंप बार-बार पानी पीते दिखे और लंबी यात्रा की थकान उनके चेहरे पर स्पष्ट दिख रही थी। ट्रंप ने हवाई, दक्षिण कोरिया, जापान, चीन, वियतनाम और फिलिपींस के दौरे पर गए थे।

ट्रंप ने कहा कि एशिया में उनके शानदार स्वागत से जाहिर होता है कि अमेरिका अब पहले वाला रुतबा हासिल कर चुका है। उन्होंने कहा, ‘हम जहां भी गए, हमारे विदेशी मेजबानों ने अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल और मेरा अविश्वसनीय गर्मजोशी, मेहमाननवाजी और सम्मान से स्वागत किया।’

दूसरी तरफ, आलोचकों के मुताबिक ट्रंप के इस मैराथन दौरे से कुछ खास हासिल नहीं हुआ। डेमोक्रेटिक सेनेटर एडवर्ड मार्के ने कहा कि ट्रंप पूर्वी एशिया के अपने दौरे में महत्वपूर्ण आर्थिक और सुरक्षा मसलों पर सार्थक प्रगति हासिल करने में नाकाम रहे हैं।

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