दूरसंचार, बिजली कंपनियांे की वित्तीय दिक्कतों की समीक्षा करंेगी समितियां
|दूरसंचार क्षेत्र में जहां गहन प्रतिस्पर्धा देखने को मिल रही है और इससे कंपनियांे का मार्जिन घट गया है। ऐसे मंे दूरसंचार कंपनियांे के बैंक रिण चूक की आशंका जताई जा रही है। वहीं बिजली क्षेत्र मंें वितरण कंपनियां बिजली उत्पादांे को भुगतान नहीं कर पा रही हैं।
सिन्हा ने पीटीआई भाषा से साक्षात्कार में कहा, व्यवहार्यता और भुगतान क्षमता के प्रणालीगत मुद्दांे की समीक्षा को अंतर मंत्रालयी समूह गठित किया गया है। यह समिति जल्द से जल्द दबाव वाली संपत्तियांे के समाधान के बारे मंे सिफारिशंे देगी। यह दूरसंचार और बिजली क्षेत्र के लिए है।
सरकारी सूत्र ने कहा कि अन्य क्षेत्रांे के लिए भी इसी तरह की समितियां बनाई जाएंगी।
भारतीय रिजर्व बैंक ने पिछले महीने बैंकांे से दूरसंचार क्षेत्र को दिए गए कर्ज की तत्काल समीक्षा को कहा था। इस क्षेत्र पर 4.6 लाख करोड़ रपये का कर्ज है। भविष्य मंे किसी तरह के दबाव से बचने के लिए बैंकांे से इस क्षेत्र को रिण के लिए उंचा प्रावधान करने को कहा गया है।
सिन्हा ने कहा कि सरकार को दूरसंचार क्षेत्र की दिक्कतांे के बारे में जानकारी है। उन्हांेने कहा, उचित समय पर उचित कार्रवाई की जाएगी।
उन्हांेने बताया कि कैबिनेट सचिव की अध्यक्षता में बैठक हुई थी जिसमंे दोनांे क्षेत्रांे की चिंताआंे पर विचार किया गया।
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