EPFO का फैसला, नौकरी जाने के 30 दिन बाद निकाल सकेंगे 75 फीसदी फंड
|कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) के सदस्य के पास अब एक महीने तक बेरोजगार रहने की स्थिति में 75% तक राशि निकालने का विकल्प होगा। इस तरह वह अपने खाते को भी बरकरार रख सकते हैं। श्रम मंत्री संतोष गंगवार ने मंगलवार को ईपीएफओ के ट्रस्टी की बैठक के बाद यह जानकारी दी।
EPFO के सेंट्रल बोर्ड के चेयरमैन और श्रम मंत्री संतोष कुमार गंगवार ने कहा कि हमने इस योजना में संशोधन का निर्णय किया है। इसके तहत एक महीने तक बेरोजगार रहने की स्थिति में ईपीएफओ का कोई भी सदस्य 75% तक राशि को अग्रिम तौर पर निकाल सकता है और अपने खाते को बनाए रख सकता है।
ईपीएफओ योजना 1952 के नए प्रावधान के तहत दो महीने तक बेरोजगार रहने की स्थिति में खाताधारक अपनी बची हुई 25% राशि की भी निकासी कर खाते को बंद कर सकता है। मौजूदा समय में कोई भी उपयोक्ता दो महीने तक बेरोजगार रहने के बाद ही इस राशि की निकासी कर सकता है।
इस नई योजना के तहत व्यक्ति अपना पीएफ अकाउंट बनाए रख सकता है और इसका उपयोग दूसरी नौकरी मिलने पर किया जा सकता है। पहले प्रस्ताव रखा गया था कि 60 प्रतिशत रकम ही वापस ली जा सकेगी लेकिन CBT ने यह सीमा 75 फीसदी कर दी।
गंगवार ने कहा, ‘हमने ETF (एक्सचेंज ट्रेडेड फंड) मैन्युफैक्चरर्स एसबीआई और यूटीआई म्यूचुअल फंड की समय सीमा भी 1 जुलाई 2019 तक के लिए बढ़ा दी है।’ श्रम मंत्री ने यह भी कहा कि ईटीएफ (एक्सचेंज ट्रेडेट फंड) में ईपीएफओ का निवेश 47,431.24 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है और जल्दी ही यह एक लाख करोड़ तक पहुंच जाएगा। इस निवेश पर प्रतिफल 16.07 प्रतिशत है।
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