बेरोजगारी के मामले में आगे लखनऊ, पटना
| राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण (एनएसएस) के मुताबिक, प्रमुख शहरों में पुरुषों के लिए बेरोजगारी की दर लखनऊ में सबसे उंची है, जबकि महिलाओं के लिए बेरोजगारी के मामले में पटना शीर्ष पर है। जुलाई, 2011 से जून, 2012 के दौरान राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण द्वारा 68वें दौर में किए गए रोजगार एवं बेरोजगारी सर्वेक्षण पर आधारित रिपोर्ट के मुताबिक, ‘पहली श्रेणी के शहरों में पुरुषों के लिए बेरोजगारी की दर सबसे अधिक लखनऊ (8.5 फीसदी) में रही, जबकि महिलाओं के लिए यह सबसे अधिक पटना (34.6 फीसदी) रही।’ स लाख या इससे अधिक आबादी वाले शहरों को पहली श्रेणी में रखा जाता है। वहीं 50,000 से अधिक और दस लाख से कम की आबादी वाले शहरों को दूसरी श्रेणी में रखा जाता है, जबकि 50,000 से कम की आबादी वाले शहरों को तीसरी श्रेणी में रखा जाता है। रिपोर्ट के मुताबिक, पुरुषों के लिए बेरोजगारी की दर पहली श्रेणी के शहरों में 2.9 प्रतिशत, दूसरी श्रेणी के शहरों में 3.3 प्रतिशत और तीसरी श्रेणी के शहरों में यह 2.6 प्रतिशत रही। इसी तरह, महिलाओं के लिए बेरोजगारी की दर पहली श्रेणी के शहरों में 4.3 प्रतिशत, दूसरी श्रेणी के शहरों में 6.3 प्रतिशत और तीसरी श्रेणी के शहरों में यह 4.8 प्रतिशत रही। पहली श्रेणी के शहरों में महिलाओं के लिए बेरोजगारी के मामले में पटना के बाद कानपुर में बेरोजगारी दर 22.7 प्रतिशत रही, जबकि कल्याण, डोंबिविली में यह 11 प्रतिशत रही। वहीं पुरुषों के लिए बेरोजगारी के मामले में लखनऊ के बाद पटना का स्थान रहा जहां बेरोजगारी की दर 8 प्रतिशत रही, जबकि 5.9 प्रतिशत की बेरोजगारी की दर के साथ हैदराबाद तीसरे पायदान पर रहा।
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