बरमूडा ट्राएंगल का रहस्य सुलझाने का दावा, 100 साल में ले चुका 1000 लोगों की जान

वॉशिंगटन.  साइंटिस्ट्स ने बरमूडा ट्राएंगल का रहस्य सुलझाने का दावा किया है। साइंटिस्ट्स का कहना है कि ऐसा हेक्सागोनल (छह एंगल वाला) बादलों की वजह से होता है। बता दें कि बरमूडा ट्राएंगल अटलांटिक ओशन में 5 लाख स्क्वायर किलोमीटर का एक हिस्सा है। इसका आकार ट्राएंगल की तरह है। पिछले 100 साल में इसमें 75 एरोप्लेन और 100 से ज्यादा छोटे-बड़े जहाज समा चुके हैं। 1000 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। बादलों की वजह से बनता है प्रेशर…   – मीडिया रिपार्ट्स के मुताबिक बरमूडा ट्राएंगल पर रिसर्च करने वाले साइंटिस्ट्स ने दावा किया है कि बरमूडा ट्रेंगल में बेहद भारी चीजों को अपनी ओर खींच लेने की ताकत बादलों की हेक्सागोनल शेप की वजह से आती है।  – कोलोराडो स्टेट यूनिवर्सिटी के मेट्रोलॉजिस्ट रैंडी कैरवेनी के मुताबिक यह बादल ‘एयर बम’ बनाते हैं। यानी हवा में बम ब्लास्ट जैसी ताकत पैदा करते हैं। – बता दें कि रैंडी कैरवेनी इस थ्योरी को देने वाले वैज्ञानिकों की टीम के मेंबर हैं।  – इनके साथ 170 मील (करीब 273 किलोमीटर)/घंटा की रफ्तार वाली हवाएं होती हैं। – ये बादल…

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