पनामा पेपर्स: एसआईटी ने सरकार को सौंपी तीन जांच रिपोर्ट
|पनामा पेपर्स की जांच करने वाले मल्टी एजेंसी ग्रुप ने सरकार को इस संबंध में तीन रिपोर्ट सौंपी हैं। पनामा पेपर्स में 500 भारतीयों के नाम थे जिन्होंने कथित तौर पर विदेशी इकाइयों में धन जमा किया था। राजस्व विभाग के मुताबिक केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) भी विशेष जांच दल (एसआईटी) को नई सूचनाएं मुहैया कराता रहा है।
एसआईटी का गठन काले धन से जुड़े मामलों की निगरानी के लिए सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों पर किया गया था। राजस्व विभाग के दस्तावेजों के मुताबिक, ‘मल्टी एजेंसी ग्रुप (एमएजी) ने सरकार को अब तक तीन रिपोर्ट सौंपी हैं। काले धन पर गठित एसआईटी को इन मामलों में लगातार सूचनाएं मुहैया कराई जा रही हैं।’
सरकार ने यह पता लगाने के लिए अप्रैल में एमएजी का गठन किया था कि करचोरी की पनाहगाह पनामा में जमा धन कानूनी है या गैरकानूनी। एमएजी में आरबीआई, आईटी विभाग, वित्तीय आय सूचना इकाई और विदेशी कर एवं कर अनुसंधान विभाग के अधिकारी हैं।
राजस्व विभाग ने कहा, ‘एमएजी के गठन का उद्देश्य था पनामा पेपर्स खुलासे में जिनके नाम उजागर हुए हैं उनके मामले में तेजी से मिलकर जांच करना। ऐसे मामलों की जांच संबंधित जांच एजेंसियां कर रही हैं और एमएजी प्रगति की निगरानी कर रही है।’
टैक्स अधिकारियों के सम्मेलन में अघोषित विदेशी आय के मुद्दे पर चर्चा हुई। चर्चा में तेज कार्रवाई, अभियोजक पक्ष की शिकायत वाले मामलों पर उचित जानकारी हासिल करने और मांग वसूली के लिए प्रभावी कदम उठाने पर भी बात हुई।
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