टीवी से कहीं ज्यादा फेसबुक के विज्ञापनों से सामान खरीदते हैं लोग: स्टडी
|सोशल नेटवर्किंग साइट फेसबुक के विज्ञापन मूवी ट्रेलर की तरह ही टीजर का काम करते हैं। एक स्टडी में पाया गया है कि लोगों को ऐड से जोड़ने में फेसबुक ऐड टीवी पर दिए ऐड की तुलना में ज्यादा कारगर साबित हो रहे हैं।सोशलटाइम्स.कॉम की रिपोर्ट के मुताबिक, खुद फेसबुक और मार्केटिंग एजेंसी न्यूरो-इनसाइट ने टीवी के उन विज्ञापनों पर कन्जयूमरों की प्रतिक्रियाओं का अध्ययन किया जिन्हें उन्होंने फेसबुक या टीवी पर पहले ही देख लिया था।
स्टडी के लिए न्यूरो-इनसाइट ने अमेरिका में 100 फेसबुक यूजर्स का अलग-अलग ग्रुप बनाया। इन समूहों में शामिल लोग 21 से 54 आयु वर्ग के थे। परीक्षण के दौरान एजेंसी ने दो अलग-अलग तरह के विज्ञापनों का इस्तेमाल किया। पहले में सिर्फ टीवी के लिए बनाए गए विडियो विज्ञापन थे और दूसरे में फेसबुक के लिए बनाए गए विडियो विज्ञापन। फेसबुक के विडियो विज्ञापन टीवी वाले विज्ञापनों की तुलना में थोड़े छोटे थे जिनमें थोड़ा पहले ब्रैंडिंग कर दी गई थी।
फेसबुक यूजर्स के एक ग्रुप ने पहले दिन विज्ञापन युक्त एक टीवी शो देखा जबकि दूसरे समूह ने फेसबुक न्यूज फीड्स ब्राउज किए। दूसरे दिन दोनों समूहों ने एक टीवी शो के दौरान पहले दिन वाले ही विज्ञापन देखे। इस परीक्षण के दौरान प्रत्येक समूह के सभी प्रतिभागी ईईजी (इलेक्ट्रॉनिकएनसेफलग्रैम) टोपियां पहनी थीं। इन टोपियों ने प्रतिभागियों के दिमाग के विभिन्न हिस्सों के वास्तविक व्यवहार से संबंधित प्रतिक्रयाओं का आकलन कर लिया।
इस स्टडी में सामने आया कि जिन्हें पहले दिन टीवी ऐड दिखाए गए थे, उनका प्रदर्शन मेमरी एनकोडिंग के लिए 50वें पर्सेंटायल के नीचे रहा जबकि जिन्हें फेसबुक ऐड दिखाए गए उनका प्रदर्शन औसत से ज्यादा रहा। जिन प्रतिभागियों ने फेसबुक ऐड देखे थे, वे ब्रैंड से मजबूती से जुड़ गए। अध्ययन के नतीजों में पाया गया कि फेसबुक पर प्रकाशित विज्ञापन ब्रैंड इंपैक्ट बढ़ाने में सक्षम होते हैं। वहीं, जो लोग टीवी पर विज्ञापन देखते हैं, वे दूसरे दिन ऐड देखने के बाद ही खरीदारी की मन बना पाते हैं।
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