किराये की कोख से बनी मां को भी प्राइवेट सेक्टर में 12 सप्ताह की छुट्टी!

नई दिल्ली

प्राइवेट सेक्टर में काम कर रही महिलाओं के लिए मातृत्व अवकाश की अवधि 12 सप्ताह से बढ़ाकर 26 सप्ताह किए जाने की कवायद चल रही है, तो दूसरी ओर सरॉगसी का सहारा लेकर मां बनने वाली कामकाजी महिलाओं को भी छुट्टी का प्रावधान करने पर विचार हो रहा है।सूत्र की मानें तो 12 सप्ताह का मातृत्व अवकाश लाभ उन कामकाजी महिलाओं को भी देने का प्रस्ताव है जो बच्चे के लिए किराये की कोख (सरॉगेट) का सहारा लेती हैं तथा बच्चे को गोद लेती हैं।
इधर, श्रम मंत्रालय कामकाजी महिलाओं के लिए मैटरनिटी लीव 12 सप्ताह से बढ़ाकर 26 सप्ताह करने के लिए संशोधन विधेयक के मसौदे को अंतिम रूप देने में लगा है और जल्दी ही इसे मंत्रालयों के बीच विचार-विमर्श के लिए भेजा जाएगा।

एक सूत्र ने बताया, ‘श्रम मंत्रालय मातृत्व अवकाश लाभ बढ़ाने के लिए संशोधन विधेयक के मसौदे को अंतिम रूप दे रहा है। इसे जल्दी ही अंतर-मंत्रालयी विचार-विमर्श के लिए भेजा जाएगा। उसके बाद इसे विचार के लिए कानून मंत्रालय तथा उसके बाद मंत्रिमंडल के पास भेजा जाएगा।’

सरकार ने कामकाजी महिलाओं के लिए मातृत्व अवकाश मौजूदा 12 सप्ताह से बढ़ाकर 26 सप्ताह करने की योजना बनाई है। इस बारे में इस महीने की शुरुआत में श्रम मंत्रालय ने ट्रेड यूनियनों तथा कर्मचारियों के साथ त्रिपक्षीय बैठक की थी। मातृत्व लाभ कानून, 1961 के तहत कामकाजी महिला को 12 सप्ताह का मातृत्व लाभ मिलता है।

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