कोच पद के लिए हिंदी आना जरूरी नहीं: बीसीसीआई

नई दिल्ली भारतीय क्रिकेट टीम के कोच पद के लिए हिंदी भाषा का ज्ञान होना अनिवार्य है, ऐसी खबरों पर विराम लगाते हुए भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने गुरुवार को साफ किया कि हिंदी भाषा का ज्ञान होना अच्छा होगा, लेकिन यह कोच पद के लिए अनिवार्य नहीं है।

बीसीसीआई सचिव अजय शिर्के ने बयान में कहा कि उम्मीद्वार को अंग्रेजी भाषा का ज्ञान होना जरूरी है और अगर किसी भारतीय भाषा का ज्ञान होता है तो यह अच्छा है। शिर्के ने बयान में कहा, ‘भारतीय क्रिकेट टीम के मुख्य कोच पद के लिए बीसीसीआई द्वारा दिए गए विज्ञापन के छठे पॉइंट के अनुसार (अंतरराष्ट्रीय टीम के कोच पद के लिए अच्छी संप्रेषण क्षमता के साथ अपनी बात को सही तरीके से कहने की काबिलियत जरूरी है। साथ ही उम्मीद्वार को अंग्रेजी भाषा का ज्ञान होना जरूरी है।’ उन्होंने कहा, ‘किसी भी भारतीय भाषा का ज्ञान होना अच्छा है, लेकिन यह कोच पद के लिए जरूरी काबिलियत नहीं है।’

बीसीसीआई ने राष्ट्रीय क्रिकेट टीम के मुख्य कोच पद के लिए बुधवार को इश्तेहार दिया था। टीम के पूर्व कोच डंकन फ्लेचर के जाने के बाद से टीम के मुख्य कोच का पद खाली पड़ा है। फ्लैचर का कार्यकाल 2015 विश्व कप के बाद समाप्त हो गया था। बोर्ड ने पद के लिए अर्जी दाखिल करने की अंतिम तिथि 10 जून रखी है। फ्लेचर के बाद भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान रवि शास्त्री को टीम का निदेशक बनाया गया था। इसी साल मार्च-अप्रैल में खेले गए टी-20 विश्व कप के बाद उनका कार्यकाल भी समाप्त हो गया। साथ ही बल्लेबाजी कोच संजय बांगर, गेंदबाजी कोच भरत अरुण और फील्डिंग कोच आर.श्रीधर का भी कार्यकाल समाप्त हो चुका है।

बोर्ड ने कोच पद के लिए कुछ मापदंड रखे हैं जिसे अर्जी देने वाले शख्स को पूरा करना होगा। पिछले सप्ताह बोर्ड ने पूर्व हरफनमौला खिलाड़ी संजय बांगर को 11 जून से शुरू हो रहे जिम्बाब्वे दौरे के लिए टीम का अंतरिम मुख्य कोच नियुक्त किया था। पूर्व खिलाड़ी अभय शर्मा को दौरे के लिए फील्डिंग कोच नियुक्त किया गया था।

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